मेरा भारत कुछ ऐसा हो ..... !
हर तरफ सुख शांति का पहरा हो !
कहीं भी न कोई झगडा हो !
हर तरफ इमानदारी का पहरा हो !
कहीं न कोई बेईमानी का पुतला हो !
हर तरफ बेटियों का पूजन हो !
कहीं न कोई नारी अपमानित हो !
हर तरफ हरी भरी हरियाली हो !
कोई न आँगन खुशियों से खाली हो !
हर तरफ प्यार और भाईचारा हो !
कहीं न कोई किसी का दुश्मन हो !
हर तरफ तरक्की ही तरक्की हो !
कहीं न कोई भूख से मरता हो !
हर तरफ मानवता की पूजा हो !
कहीं न धर्म सम्बंधित झगडा हो !
मेरा भारत सबसे न्यारा हो !
खुशहाली का चारो तरफ बसेरा हो !
प्रवीन मलिक
अगर ऐसी सोच सबकी हो जाये तो चारो और खुशहाली हो जाएगी
ReplyDeleteबहुत सुन्दर प्रस्तुति...
ReplyDeleteकाश ये हो जाए ...
ReplyDeleteदेश में फिर से खुशहाली अ जाए ...
लाजवाब अभिव्यक्ति...बहुत बहुत बधाई...
ReplyDeleteहमसब ऐसा ही चाहते हैं
ReplyDeleteऐसे सपनों का भारत कब बनेगा पता नहीं
सुन्दर रचना
सादर!
काश ये हो जाए .
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